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Friday, September 30, 2011

What is New in GATE 2012?


Application Process:

In GATE 2012, candidates need to register and fill the application ONLINE only by accessing the zonal GATE websites of IISc and seven IITs. The application process is complete only when a print out of the filled ONLINE application with the candidate's signature and a good quality photo affixed in the appropriate place is received by the respective GATE office along with necessary documents, if any, on or before 24 October 2011. Please note that sale of application forms through banks and GATE office counters has been discontinued.

Downloadable Admit Card:

Sending Admit cards by post has been discontinued from this year. Admit cards can only be downloaded from the zonal GATE websites from 2nd January 2012. Bring the admit card to the test center along with at least one original (not photocopied / scanned copy) and valid (not expired) photo identification.

Use of black ink ball point pen:

The use of pencils to darken the bubbles in the answer sheet has been discontinued from this year. Candidates should use only black ink ball point pen for darkening of the bubbles in the answer sheet. Since bubbles darkened by the black ink ball point pen cannot be erased, candidates should darken the bubbles in the answer sheet very carefully.

ONLINE examination in two additional papers:

In GATE 2011, the papers with codes GG, TF, AE and MN had ONLINE examination. In GATE 2012, two additional papers, AR and AG, will also have ONLINE examination. The ONLINE examination will be conducted in two sessions on Sunday, January 29, 2012.

Forenoon session (09:00 hrs to 12:00 hrs): AR, GG and TF.

Afternoon session (14:00 hrs to 17:00 hrs): AE, AG and MN.

Numerical answer type questions in ONLINE papers:
In the ONLINE papers (AE, AG, AR, GG, MN and TF), the question paper will consist of questions of multiple choice type and questions of numerical answer type. For multiple choice type questions, each question will have four choices for the answer. For numerical answer type questions, each question will have a number as the answer. The number of numerical answer type questions may vary between 5 and 10 in each question paper.

Pre-final year students:


Pre-final year students are not eligible to write GATE 2012. For details, refer to eligibility for GATE examination.

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Syllabus for Computer Science and Information Technology (CS)



Engineering Mathematics

Mathematical Logic:

Propositional Logic; First Order Logic.

Probability:

Conditional Probability; Mean, Median, Mode and Standard Deviation; Random Variables; Distributions; uniform, normal, exponential, Poisson, Binomial.

Set Theory & Algebra:

Sets; Relations; Functions; Groups; Partial Orders; Lattice; Boolean Algebra.

Combinatorics:

Permutations; Combinations; Counting; Summation; generating functions; recurrence relations; asymptotics.

Graph Theory:

Connectivity; spanning trees; Cut vertices & edges; covering; matching; independent sets; Colouring; Planarity; Isomorphism.

Linear Algebra:

Algebra of matrices, determinants, systems of linear equations, Eigen values and Eigen vectors.

Numerical Methods:

LU decomposition for systems of linear equations; numerical solutions of non-linear algebraic equations by Secant, Bisection and Newton-Raphson Methods; Numerical integration by trapezoidal and Simpson's rules.

Calculus:

Limit, Continuity & differentiability, Mean value Theorems, Theorems of integral calculus, evaluation of definite & improper integrals, Partial derivatives, Total derivatives, maxima & minima.

Computer Science and Information Technology

Digital Logic:

Logic functions, Minimization, Design and synthesis of combinational and sequential circuits; Number representation and computer arithmetic (fixed and floating point).

Computer Organization and Architecture:

Machine instructions and addressing modes, ALU and data-path, CPU control design, Memory interface, I/O interface (Interrupt and DMA mode), Instruction pipelining, Cache and main memory, Secondary storage.

Programming and Data Structures:

Programming in C; Functions, Recursion, Parameter passing, Scope, Binding; Abstract data types, Arrays, Stacks, Queues, Linked Lists, Trees, Binary search trees, Binary heaps.

Algorithms:

Analysis, Asymptotic notation, Notions of space and time complexity, Worst and average case analysis; Design: Greedy approach, Dynamic programming, Divide-and-conquer; Tree and graph traversals, Connected components, Spanning trees, Shortest paths; Hashing, Sorting, Searching. Asymptotic analysis (best, worst, average cases) of time and space, upper and lower bounds, Basic concepts of complexity classes P, NP, NP-hard, NP-complete.

Theory of Computation:

Regular languages and finite automata, Context free languages and Push-down automata, Recursively enumerable sets and Turing machines, Undecidability.

Compiler Design:

Lexical analysis, Parsing, Syntax directed translation, Runtime environments, Intermediate and target code generation, Basics of code optimization.

Operating System:

Processes, Threads, Inter-process communication, Concurrency, Synchronization, Deadlock, CPU scheduling, Memory management and virtual memory, File systems, I/O systems, Protection and security.

Databases:

ER-model, Relational model (relational algebra, tuple calculus), Database design (integrity constraints, normal forms), Query languages (SQL), File structures (sequential files, indexing, B and B+ trees), Transactions and concurrency control.

Information Systems and Software Engineering:

information gathering, requirement and feasibility analysis, data flow diagrams, process specifications, input/output design, process life cycle, planning and managing the project, design, coding, testing, implementation, maintenance.

Computer Networks:

ISO/OSI stack, LAN technologies (Ethernet, Token ring), Flow and error control techniques, Routing algorithms, Congestion control, TCP/UDP and sockets, IP(v4), Application layer protocols (icmp, dns, smtp, pop, ftp, http); Basic concepts of hubs, switches, gateways, and routers. Network security basic concepts of public key and private key cryptography, digital signature, firewalls.

Web technologies:

HTML, XML, basic concepts of client-server computing.

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Tuesday, September 27, 2011

सोशल नेटवर्किंग साइट पर 100 एसएमएस की बंदिश नहीं


दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) ने एक दिन में 100 एसएमएस की बंदिश पर शंकाओं को दूर कर दिया है। ट्राई ने स्पष्ट किया है कि टेलिकॉम ऑपरेटर, -टिकटिंग मुहैया करवाने वाली एजेंसियां और सोशल नेटवर्किंग साइट जैसी सेवा प्रदाता कंपनियों पर यह नियम लागू नहीं होगा। साथ ही, 'ब्लैक आउट डेज़' यानी त्योहारों पर यूजर जितने चाहे, एसएमएस भेज सकते हैं।

जैसा कि आप जानते हैं कि मंगलवार से एक सिम से यूजर एक दिन में 100 एसएमएस से ज्यादा नहीं भेज सकते हैं। नियामक की ओर से यह लिमिट परेशान करने वाले मेसेज और कॉल्स से यूजर को निजात दिलवाने के लिए लागू किया गया।

ट्राई ने यह पाबंदी पर स्पष्टीकरण संबंधी निर्देश टेलिकॉम ऑपरेटर्स की संस्था COAI की रिक्वेस्ट पर जारी किया है। पाबंदी -टिकटिंग एजेंसियों पर लागू नहीं होगी। साथ ही, सोशल नेटवर्किंग साइट्स जैसे ट्विटर, फेसबुक, ऑर्कुट, लिंक्डइन और गूगलप्लस को भी नए नियम से परे रखा गया है। डायरेक्टरी सर्विस प्रोवाइडर्स जैसे जस्ट डायल और आस्कमी पर भी यह नियम लागू नहीं होगा।


पोस्ट पेड यूज करने वाले उपभोक्ता के लिए नए नियम में कहा गया है कि प्रति सिम 3000 एसएमएस प्रति माह भेजे जा सकते हैं। जिन लोगों को सर्विस प्रोवाइडर कंपनी इससे छूट देगी, उनसे यह सुनिश्चित करवाएगी कि इसका प्रयोग कमर्शल कम्यूनिकेशन के लिए नहीं किया जाएगा।

पहले COAI ने ट्राई से इस पांबदी पर यह कहते हुए पुनर्विचार करने को कहा था, इससे एक यूजर के 'मौलिक अधिकार' का हनन हो सकता है। कई बार टालमटोल के बाद ट्राई ने 5 सितंबर को यह एलान किया कि 27 सितंबर से कोई भी एक सिम से 100 से ज्यादा एसएमएस नहीं करे सकेगा।
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Friday, September 23, 2011

इस ऐप्पलीकेशन से आपके मोबाइल की बैटरी लाइफ बढ़ जाएगी


मोबाइल फोन के एप्स की तादाद बढ़ती ही जा रही है। अब एक से एक मोबाइल एप्स सामने रहे हैं और मोबाइलधारकों की जिंदगी आसान बना रहे हैं।

मोबाइल फोन की बैटरी बढ़ाने वाला यह एप्स हैबैटरी इम्प्रूवऔर इसकी खासियत है कि यह आपके मोबाइल की बैटरी दो दिनों तक बढ़ा सकता है। सिर्फ इतना ही नहीं, यह एप्स आपके फोन के रिसोर्स को बढ़ा देता है और अनावश्यक प्रोसेस से छुटकारा दिला देता है।

बैटरी इम्प्रूव में सभी तरह के फीचर हैं, मसलन वाई फाई कंट्रोल, पीक इंटरवल, फोन ऑप्टिमाइज़र, प्रोफाइल मैनेजर, टास्क किलर, ब्राइटनेस कंट्रोल वगैरह। ऐंड्रॉयड फोन इस्तेमाल करने वालों के लिए तो यह एक वरदान है।तो देर किस बात की, ले आइए यह एप्स और बढ़ाइए अपने मोबाइल की बैटरी की ताकत।
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यह है दुनिया का सबसे ज्यादा डाउनलोड होने वाला एप्प


अगर आप सोच रहे हैं कि अमेरिका या जापान में तैयार हो रहे आई पैड एप्पलीकेशन सबसे ज्यादा डाउनलोड किए जाते हैं तो आप गलतफहमी में हैं।



दुनिया में सबसे ज्यादा डाउनलोड होने वाला एप्प मेक्सिको की कांपनी काक्सान गेम्स द्वारा बनाया हुआ है। इसका नाम है टैको मस्टर और यह एप्पल के उपकरणों में सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाता है। यह एक तरह का गेम है जिसमें खिलाड़ी विक्रेता बनते हैं और सड़कों पर सामान बेचते हैं।



50 देशों में करोड़ों लोग इस गेम के दीवाने हो चुके हैं। तीन हफ्तों में ही यह दुनिया का सबसे पॉपुलर एप्प हो गया है। इसकी कीमत 97 सेंट है लेकिन कई साइट्स इसे फ्री में डाउनलोड करने का मौका दे रहे हैं।
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शॉपिंग और ट्रावेलिंग आसान बनाएगा यह एप्प


आज जबकि हर व्यक्ति व्यस्त है और उसके पास इतना वक्त भी नहीं है कि वह अपनी पसंद का सामान खरीद ले या फिर एक खूबसूरत सी जगह घूम आए, एक एप्प उसकी मदद को तैयार है।



यह एप्प है एनजीपे (ngpay) यह इस्तेमाल में बेहद आसान एप्पलीकेशन है। इससे एनजीपे के नेटवर्क के पार्टनरों और सर्विसेज में एक्सेस किया जा सकता है। इनमें ट्रावेल के सैकड़ों स्टोर हैं तथा मनोरंजन,ज्वेलरी, गैजेट और किताबों वगैरह की पूरी सूची है।



इसमें आप अपनी पसंद का सामान या स्टोर पाते ही ऑर्डर कर सकते हैं। इसकी कीमत आप अपने क्रेडिट कार्ड या डेबिट कार्ड से चुका सकते हैं। इस एप्प के जरिये भुगतान करना पूरी तरह से सुरक्षित है।
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जानिए क्या होता है वाई फाई


वाई फाई जिसे वायरलेस फिडेलिटी भी कहते हैं एक वायरलेस नेटवर्किंग सुविधा है, वाई फाई का एक सीमित क्षेत्र होता है वाई फाई के जरिए हम अपने लैपटॉप,मोबाइल, आईपॉड इत्यादि को बिना केबल के इंटनेट से जोड़ सकते हैं वाई फाई के जरिए किसी भी किसी भी तार की जरुरत नहीं होती है।



उदाहरण के लिए भारत में कई ऑफिस, मॉल या एयरपोर्ट वाईफाई सुविधा से युक्त हैं जहां आप अपना लैपटॉप चलाकर उसमें बिना इंटरनेट का तार जोड़े वाई फाई की सुविधा का मजा उठा सकते हैं इसमें बिना किसी इंटरनेट केबल के आप नेट से कनेक्ट होकर ईमेल, चेटिंग तथा सर्फिंग कर सकते है। भारत में पुणे पहला ऐसा शहर है जो पूरी तरह वाई फाई युक्त है।

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जानिए क्या होता है हैकिंग


कंप्यूटरों की दुनिया में हैकिंग आम बात हो गई है और इन दिनों बड़े पैमाने पर इसकी खबरें आती रहती है। लोगों के पर्सनल अकाउंट से डेटा गायब करने से लेकर उसे बिगाड़ने तक की खबरें आती रहती हैं। यह सब होता है हैकिंग के जरिये।



हैकिंग का मतलब है किसी दूसरे के कंप्यूटर नेटवर्क या अकाउंट में बिना अनुमति के या अवैध तरीके से घुसना। कोई भी हैकर पहले आसान से टारगेट ढूंढ़ता है और फिर उसके सहारे और कंप्यूटरों को निशाना बनाता है। इस हमले के पीछे उसका उद्देश्य पूरे सिस्टम पर कब्जा करना होता है। इससे वह उस सिस्टम में एडिट, डीलिट, इन्स्टाल या फिर कोई भी फाइल किसी अन्य यूजर के फाइल में डाल सकता है।



इसके लिए हैकर सॉफ्टवेयर बग का इस्तेमाल करते हैं। वे कई तरह के बग का इस्तेमाल करके दूसरों के कंप्यूटरों में घुस जाते हैं। आजकल हैकर इसके लिए कई तरह के मॉडर्न सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल भी करते हैं।

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जानिए क्या होता है आईपैड


आईपैड एक तरह का टेबलेट कंप्यूटर है जिसे अमेरिकी कंपनी ऐप्पल ने बनाया है यह आकर में लैपटप से छोटा और स्मार्टफोन से बड़ा होता है. यह मूल रुप से ऑडियो-वीडियो मीडिया खासकर बुक्स वगैरह के लिए बेहतर है। उसके अलावा यह फिल्में देखने, गेम्स खेलने और वेब कंटेंट के लिए उपयोगी होता है।



आईफोन और आईपॉड की तरह यह मल्टीटच डिस्पले नियंत्रित होता है। इसके पहले टेबलेट कंप्यूटरों में यह सुविधा नहीं होती थी।ऐप्पल ने पहला आईपैड 2010 में रिलीज किया था लेकिन महज 80 दिनों में उसने तीस लाख आईपैड बेच दिए थे।
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जानिए क्या है टचस्क्रीन


इन दिनों मोबाइल फोन में टचस्क्रीन का इस्तेमाल बढ़ता जा रहा है। ज्यादातर कंपनियां टचस्क्रीन वाले फोन बनाने लगी हैं और ग्राहकों को भी ये पसंद आते हैं। लेकिन सवाल है कि टचस्क्रीन है क्या और यह काम कैसे करता है ? आइए हम बताते हैं।



टचस्क्रीन दरअसल एक कंप्यूटर डिस्पले स्क्रीन है जो अपने आप में एक उपकरण भी है। यह स्क्रीन संवेदनशील होता है यानी कि यूजर कंप्यूटर को कमांड पिक्चर या वहां लिखे शब्द छूकर देता है। दबाव पड़ते ही वह हिस्सा सक्रिय हो जाता है और आगे की कार्रवाई शुरू हो जाती है।



टचस्क्रीन तीन तरह के होते हैं-रेसिस्टिव, सरफेस वेव और कैपेसिटिव। इनके काम करने का तरीका अलग होता है। इनमें रेसिस्टिव टचस्क्रीन सबसे सस्ते होते हैं जबकि कैपेसिटिव टचस्क्रीन सबसे ज्यादा क्लेरिटी वाले होते हैं।
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जानिए क्या है 3 जी


इन दिनों 3जी की चर्चा बहुत है और ज्यादातर कंपनियां इसकी सुविधा से लैस स्मार्टफोन पेश करने में जुटी है। आइए हम बताते हैं कि 3जी है क्या।



3जी एक टेक्नोलॉजी का नाम है और इसका पूरा मतलब थर्ड जेनरेशन टेक्नोलॉजी है। इस टेक्नोलॉजी से डेटा ट्रांसफर करना कहीं बेहतर तरीके से होता है और यह मोबाइल इस्तेमाल करने वालों को अतिरिक्त सेवाएं मुहैया कराता है। इससे आप मोबाइल फोन पर वीडियो, लाइव टीवी, जीपीएस सेवाओं का लाभ उठा सकते हैं। दरअसल यह इंटरनेशनल मोबाइल स्पेसिफिकेशन को पूरा करता है जिसे अंतरराष्ट्रीय दूरसंचार यूनियन (आई टी यू) द्वारा रखा गया है। इस स्टैंडर्ड को पाने के लिए एक सिस्टम चाहिए और यह 3 जी से मिलता है।



याद रहे कि 3जी सेवा सभी तरह के फोनों पर नहीं मिल सकती है और इसके लिए स्मार्टफोन चाहिए होते हैं। इस टेक्नोलॉजी के कारण मोबाइल फोन में दो कैमरे भी हो सकते हैं।
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शुरू हो गई गूगल की सबसे ‘अनोखी’ सर्विस!


दुनिया की सबसे बड़ी सर्च इंजन कंपनी गूगल ने अपने ग्राहकों के लिए एक बेहद अनोखी सर्विस की शुरूआत कर दी है। इस सर्विस का नाम हैगूगल वालेटऔर इसके जरिए लोगों को मोबाइल फोन से ही पमेंट करने की सुविधा दी जाएगी। आपको बता दें कि गूगल वालेट एक एप्लीकेशन है जो लोगों को फोन के जरिए भुगतान करने की सुविधा देगा।



गूगल कंपनी की तरफ से इस साल मई महीने के दौरान ही गूगल वालेट सर्विस लांच करने की बात कही गई थी। लेकिन इस अब जाकर इस्तेमाल के लिए पेश किया गया है।



कंपनी की तरफ से बताया गया है कि यह एप्लीकेशन शुरुआती दौर में केवल नेक्सस एस 4जी फ़ोन पर स्प्रिंट के साथ उपलब्ध होगा। यह भी कहा गया है कि लोग गूगल की इस सेवा की मदद से अपने सिटी मास्टरकार्ड क्रेडिट कार्ड और गूगल प्रीपेड कार्ड से भुगतान कर सकेंगे।
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TABLETS


डेस्कटॉप और लैपटॉप के बाद अब मार्केट में टैब्लेट का राज है। भले ही ये साइज में छोटे हैं, लेकिन इन्होंने अपने यूजर्स को ईजी मूवेबिलिटी के अलावा तमाम दूसरी फैसिलिटीज भी उपलब्ध कराई हैं, जो उन्हें डेस्कटॉप या लैपटॉप में मिलती थीं। आइए जानते हैं इनके बारे में :

आईपैड 2

आईपैड 2 अपने ओरिजिनल वर्जन आईपैड 1 का सीक्वल है, जिसे एपल कंपनी ने डिजाइन किया है। इसका सबसे बेहतरीन फीचर है कि यह सबसे पतला टैब्लेट है, जिसकी चौड़ाई सिर्फ 0.34 इंच है। जाहिर है, कम चौड़ा होने की वजह से यह काफी स्मार्ट नजर आता है। इसमें एपल का नया डुअल कोर ए 5 प्रोसेसर लगाया गया है। निर्माताओं का दावा है कि इसकी स्पीड अपने पिछले वर्जन से काफी फास्ट है। इसमें रीचार्जेबल लीथियम आयन बैटरी है, जो कि 10 घंटों तक चल सकती है। खासकर यह 3जी, वाई-फाई, ब्राउजिंग, न्यूज रीडिंग, पिक्चर और विडियो देखने पर भी अच्छे रिजल्ट देती है।

मोटोरोला जूम

मोटोरोला ने गूगल के एंड्रॉयड बेस्ड हनीकॉम्ब ऑपरेटिंग सिस्टम के साथ मिलकर आईपैड का एक हेल्दी कॉम्पिटीटर मोटोरोला जूम तैयार किया है। जूम में नए सॉफ्टवेयर्स के अलावा बेहतर हार्डवेयर भी लगे हैं। 1 गीगाहर्ट्ज का 1 जीबी डीडीआर 2 रैम के साथ उपलब्ध है। इसके अलावा, इसमें 32 जीबी का इंटरनल स्टोरेज, 10.1 इंच का डिस्प्ले और फ्रंट व रियर फेसिंग कैमरे की सुविधा है। इस पहला ऐसा टैब्लेट है, जो एंड्रॉयड पर बेस्ड है। गौरतलब है कि हनीकॉम्ब में 3डी डेस्कटॉप और 3डी में गूगल मैप्स5 की सुविधा उपलब्ध है। खास बात यह है कि जूम डॉकिंग स्टेशंस को सपोर्ट करता है, जो कि चार्जिंग के साथ विडियो देखने के लिए भी इस्तेमाल किया जाता है।

सैमसंग गैलेक्सी टैब 10.1

गैलेक्सी टैब में डुअल कोर टैगरा 2 प्रोसेसर और 10.1 इंच का टीएफटी डिस्प्ले वाला मॉनिटर है। इसके यूजर्स गूगल का हनीकॉम्ब 3.1 वर्जन यूज करते हैं। इसमें 3.15 मेगापिक्सल का रियर फेसिंग और 2 मेगापिक्सल का फ्रंट फेसिंग कैमरा है। सैमसंग के इस टैब्लेट में आप म्यूजिक का लुत्फ भी उठा सकते हैं। इसके लिए इसमें दो स्टीरियो स्पीकर्स और एक एम्प्लिफायर भी है , ताकि आप बेहतरीन म्यूजिक का मजा ले सकें। हालांकि इसमें यूएसबी चार्जिंग फैसिलिटी नहीं है , लेकिन इसका 30 पिन यूएसबी कनेक्टर इजी कंप्यूटर कनेक्टिविटी उपलब्ध कराता है। इसमें इस्तेमाल की जाने वाली पोलेरिस ऑफिस एप्पस की मदद से आप हर तरह के डॉक्यूमेंट्स और शीट्स को देख और एडिट कर सकते हैं।

ब्लैकबेरी प्लेबुक

ब्लैकबेरी प्लेबुक टैब्लेट मार्केट का लेटेस्ट खिलाड़ी है। बिजनेस मैंस को ध्यान में रखते हुए इसमें तमाम बिजनेस माइंडेड फीचर्स जैसे स्प्रेडशीट्स और वर्ड प्रोेसेसिंग फाइल्स भी डाले गए हैं। 3 मेगापिक्सल फ्रंट फेसिंग और 5 मेगापिक्सल रियर फेसिंग कैमरा के साथ ब्लैकबेरी प्लेबुक में 1 हर्ट्ज का प्रोसेसर है। इसके अलावा इसमे 1 जीबी रैम , माइक्रोएचडीएमआई आउटपुट , डुअल कोर प्रोेसेसिंग और एचडी विडियो प्लेबैक का सपोर्ट भी है। हालांकि यह अपने कॉम्पिटीटर्स के मुकाबले थोड़े छोटे साइज 7 इंच में उपलब्ध है। दरअसल , इसका साइज कॉरपोरेट्स की सहूलियत को देखते हुए छोटा रखा गया है। यह एडोब फ्लैश 10.1, वेबकिट , जावा , ओपन जीएल और एडोब एयर को सपोर्ट करता है।

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